- हिंसा प्रभावित क्षेत्र से भागकर आए परिवार से किया मुलाकात
- राज्यपाल ने कहा कानून हाथ में लेने वाले जाएंगे जेल
पश्चिम बंगाल बीजेपी अध्यक्ष डॉ. सुकांत मजूमदार आज मुर्शिदाबाद हिंसा के पीड़ितों से मुलाकात किया। मजूमदार पड़ोसी मालदा पहुंचे हैं, जहां कुछ पीड़ितों ने अपने घर से भागकर शरण ली है। वे सबसे पहले मालदा के बीजेपी मुख्यालय में पीड़ितों के लिए बनाए गए नियंत्रण कक्ष का निरीक्षण करेंगे और फिर पीड़ितों से मिलने के लिए पलेरपुर हाई स्कूल जाएंगे। मजूमदार ने कहा कि मैं मालदा में रुकूंगा, जानकारी जुटाऊंगा और गृह मंत्रालय में रिपोर्ट दाखिल करूंगा। मैं निगरानी करूंगा कि केंद्रीय बल का उचित उपयोग हो रहा है या नहीं। हमने मालदा जिला मुख्यालय में एक कंट्रोल रूम खोला है, पीड़ित संकट की स्थिति में कॉल कर सकते हैं।टीएमसी ने आरोप लगाया था कि केंद्रीय सरकार ने साजिश रची है और बीएसएफ ने बांग्लादेश से उपद्रवियों को घुसने और दंगे फैलाने की अनुमति दी है. इस मजूमदार ने कहा कि यह एक बेबुनियाद आरोप है। हिंदुओं पर हमला पूरी तरह से सीएम के निर्देश पर किया गया, लेकिन पुलिस निष्क्रिय है. पुलिस द्रविड़ की तरह खेल रही थी। अब केंद्रीय बलों ने धोनी की तरह खेलना शुरू कर दिया है और स्थिति नियंत्रण में है।मुर्शिदाबाद में BSF और CRPF तैनात: मुर्शिदाबाद में हुई हिंसा के बाद इलाके में सुरक्षा बलों को तैनात किया गया है। हिंसा प्रभावित इलाकों में अभी 9 बीएसएफ और 8 सीआरपीएफ कंपनियां मौजूद हैं। बीएसएफ एडीजी रवि गांधी आज से मालदा और मुर्शिदाबाद के दो दिवसीय दौरे पर रहेंगे। वे आज इलाके में पहुंचेंगे और हिंसा प्रभावित जगहों सूती, समसेरगंज, जंगीपुर का दौरा करेंगे। रविवार को बीएसएफ और आरोपियों के बीच विवाद बढ़ने की आशंका नजर आई लेकिन सुरक्षा बलों की जवाबी कार्रवाई की वजह से मामला ज्यादा आगे नहीं बढ़ा। पिछले दिनों पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में वक्फ कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान हिंसा भड़क गई। इस दौरान कई इलाकों में पथराव-आगजनी की खबरें सामने आईं। हिंसा में अब तक 3 की मौत हो गई और कई पुलिसकर्मी घायल हो गए हैं। पुलिस ने आरोपियों को खिलाफ कार्रवाई करते हुए 150 से ज्यादा लोगों को गिरफ्तार किया है। इलाके में शांति बहाल करने के लिए पुलिस के साथ बीएसएफ के जवानों को तैनात किया गया है।
कानून को हाथ में लेने वालों के खिलाफ होगी कारवाई: राज्यपाल
पश्चिम बंगाल के राज्यपाल डॉ. सीवी आनंद बोस ने मुर्शिदाबाद और राज्य के अन्य हिंसा प्रभावित क्षेत्रों की स्थिति पर गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि राजभवन का कोर ग्रुप मुर्शिदाबाद और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों की स्थिति पर वास्तविक समय के आधार पर लगातार नजर बनाए हुए है। उन्होंने कहा कि उनकी और मुख्यमंत्री के बीच इस मुद्दे पर बातचीत हुई है और हालात की गंभीरता को देखते हुए केंद्र सरकार और गृह मंत्रालय भी पूरी तरह से सतर्क हैं और स्थिति की निगरानी कर रहे हैं।केंद्र सरकार ने पर्याप्त संख्या में केंद्रीय बलों की तैनाती कर दी है। राज्यपाल बोस ने कहा कि कानून-व्यवस्था की स्थिति की समीक्षा के लिए बीएसएफ और स्थानीय पुलिस सहित सभी प्रवर्तन एजेंसियों से रिपोर्ट प्राप्त की गई है। केंद्र सरकार ने पर्याप्त संख्या में केंद्रीय बलों की तैनाती कर दी है और जरूरत पड़ने पर और अधिक बल तैनात करने के लिए तैयार है। फिलहाल बीएसएफ की नौ कंपनियां तैनात हैं और इसके अतिरिक्त सीआरपीएफ, आरपीएफ और आरआईएफ भी किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। राज्य पुलिस भी केंद्रीय बलों के साथ मिलकर क्षेत्र में सक्रिय है और उपद्रवियों की गिरफ्तारी की जा रही है। संकट में फंसे लोगों को केंद्रीय बलों की ओर से समय पर मदद पहुंचाई जा रही है। राज्यपाल ने कहा कि संकट में फंसे लोगों को केंद्रीय बलों की ओर से समय पर मदद पहुंचाई जा रही है। उन्होंने चेतावनी दी कि जो लोग हिंसा फैला रहे हैं और उनके संरक्षक हैं, उन्हें यह समझ लेना चाहिए कि अब यह एक लड़ाई होने जा रही है। अब हिंसा और अपराध के खिलाफ सख्ती से कार्रवाई की जाएगी और किसी को भी कानून हाथ में लेने की अनुमति नहीं दी जाएगी। यह लड़ाई सिर्फ कानून-व्यवस्था की नहीं, बल्कि अन्याय और हिंसा के खिलाफ समाज की लड़ाई है।डॉ. बोस ने यह भी कहा कि यह लड़ाई सिर्फ कानून-व्यवस्था की नहीं, बल्कि अन्याय और हिंसा के खिलाफ समाज की लड़ाई है। उन्होंने जोर देकर कहा कि अदालतें, सरकार और समाज के सभी जिम्मेदार और सजग नागरिक एकजुट होकर इन अपराधियों को खत्म करने के लिए कड़ा रुख अपना चुके हैं। ( कोलकाता से अशोक झा )
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